महिला के हत्यारोपी को कोर्ट ने सुनाई उम्र कैद की सजा व अर्थदण्ड

केस में सुलह न करने पर जलाकर उतारा था मौत के घाट
सुलतानपुर।

केस में सुलह न करने के चलते जलाकर महिला को मौत के घाट उतारने के मामले में अदालत ने दोषी को उम्र कैद व बीस हजार रुपये अर्थदण्ड की सजा सुनाई है। एडीजे चतुर्थ राकेश कुमार यादव ने अर्थदण्ड की रकम में से आधी रकम पीड़ित पक्ष को दिए जाने का भी आदेश दिया है।
मामला जगदीशपुर थाना क्षेत्र के रानीगंज गांव से जुड़ा है। जहां के रहने वाले विनोद कुमार पाल ने 19 जुलाई 2012 की घटना बताते हुए मुकदमा दर्ज कराया। आरोप के मुताबिक गांव के ही आरोपी कन्हई यादव से उसके परिवार के बीच मुकदमें बाजी को लेकर पुरानी रंजिश चली आ रही थी। उस मुकदमे में घटना के एक हफ्ते बाद फैसले की भी तारीख नियत थी। इसी मुकदमें में कन्हई यादव ने अभियोगी की पत्नी कुसुम पाल को घटना के पूर्व सुलह न करने पर जान से मारने की धमकी दी थी। कुसुम ने सुलह करने से साफ इंकार कर दिया था। इसी रंजिश को लेकर कन्हई यादव ने कुसुम को जलाकर घायल कर दिया। जिसकी इलाज के दौरान मौत हो गयी। मौत से पहले महिला ने मजिस्ट्रेट को बयान दिया था,जिसमें आरोपी कन्हई के जरिए ही घटना को अंजाम देने की पुष्टि की थी। इसी मामले का विचारण एडीजे चतुर्थ की अदालत में चल रहा था। जिसमें सुनवाई के दौरान बचाव पक्ष ने अपने साक्ष्यों एवं तर्कों को पेश किया,वहीं शासकीय अधिवक्ता रमेश चंद्र सिंह ने अभियोजन पक्ष से आठ गवाहो को परीक्षित कराया। उभय पक्षों को सुनने के पश्चात सत्र न्यायाधीश राकेश कुमार यादव ने आरोपी कन्हई यादव को हत्या के आरोप में बीते 25 सितम्बर को दोषी करार देते हुए सजा के बिंदु पर सुनवाई के लिए तिथि तय की थी। जिसके क्रम में सुनवाई के दौरान शासकीय अधिवक्ता ने दोषी को कड़ी सजा से दण्डित किये जाने की मांग की। उभय पक्षों को सुनने के पश्चात अदालत ने दोषी कन्हई यादव को उम्र कैद व 20 हजार रुपये अर्थदण्ड की सजा सुनाई है। अदालत ने अर्थदण्ड की रकम में से 10 हजार रुपये पीड़ित पक्ष को देने का आदेश दिया है।


Popular posts from this blog

भारत विदेश नीति के कारण वैश्विक शक्ति बनेगा।

स्वरोजगारपरक योजनाओं के अंतर्गत ऑनलाइन ऋण वितरण मेले का किया गया आयोजन

बांसडीह में जाति प्रमाण पत्र बनाने को लेकर दर्जनों लोगों ने एसडीएम को सौपा ज्ञापन