यूपी में भाजपा सरकार भ्रम और भय के सहारे कर रही अपनी राजनीति: अखिलेश
लखनऊ।
समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने कहा है कि उत्तर प्रदेश में भाजपा सरकार भ्रम और भय के सहारे अपनी राजनीति कर रही है। जनता की मूलभूत आवश्यकताओं की अनदेखी इसकी विशेषता रही है। समाजवादी सरकार ने काम किया जबकि भाजपा सरकार उस पर अपना नाम करने की नाकाम कोशिश करती है। ढाई साल बीत गए भाजपा सरकार ने एक यूनिट विद्युत भी उत्पादित नहीं किया है।
अखिलेश ने आईपीएन को दिए अपने बयान में कहा कि भाजपा सरकार में अरबों रूपए का एक बड़ा घोटाला सामने आया है। बिजली कर्मचारियों के 16 अरब रूपए एक डिफाल्टर कम्पनी डी.एच.एफ.सी.एल. में लगा दिया गया। इस कम्पनी के आतंकवादी इकबाल मिर्ची और दाऊद से सम्बंध बताए जाते हैं। अब सवाल यह है कि बिजली कर्मचारियों की गाढ़ी कमाई के पैसे कौन लौटाएगा? इस मामले की उच्च स्तरीय जांच हो तभी इस वित्तीय अनियमितता का खुलासा हो पाएगा।
अखिलेश ने कहा कि समाजवादी सरकार के समय घरों में बिजली के मीटर लगाने की शुरूआत हो गई थी अब उसी पर राजनीति कर जनता को बहकाने की योजना पर भाजपा सरकार काम कर रही है। भाजपा सरकार जनता को ठगने के लिए खराब गुणवत्ता वाले मीटर लगा रही है। उपभोक्ता परेशान है, और गलत बिलिंग के शिकार हो रहे हैं।
अखिलेश ने कहा कि यह तो सभी जानते हैं कि समाजवादी सरकार में ही गांवों में 18 घंटे और महानगरों तथा सभी तीर्थ स्थलों में 24 घंटे विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की गई थी। प्रदेश में ट्रांसफार्मर बदलने की समय सीमा तय कर दी गई थी। किसानों के नलकूपों के ऊर्जाकरण को प्राथमिकता दी गई थी।
अखिलेश ने कहा कि समाजवादी सरकार में राज्य विद्युत निगम की अधिष्ठापित क्षमता में बढ़ोत्तरी के साथ पारीछा, अनपरा डी, मेजा, ललितपुर की तापीय परियोजनाओं का विस्तार कर विद्युत क्षमता बढ़ाई गई। उपभोक्ताओं को नए विद्युत कनेक्शन दिए गए और उनका लोड बढ़ाया गया। 201 नए विद्युत उपकेन्द्रों की स्थापना की व्यवस्था समाजवादी सरकार ने ही की थी।
उल्लेखनीय है कि समाजवादी सरकार के कार्यकाल में ही ऊर्जा नीति घोषित की गई थी। ग्रिड संयोजित सौर पावर परियोजनाएं स्थापित की गईं। ग्रामीण क्षेत्रों के लिए मिनी ग्रिड सोलर पावर की योजनाएं कार्यान्वित की गई। लोहिया समग्र गांवों में सोलर स्ट्रीट लाइट और लोहिया ग्रामीण आवासों में सोलर पावर पैकेज दिया गया। अण्डरग्राउण्ड केबिल बिछाने का काम भी तभी शुरू हुआ।
अखिलेश ने कहा कि भाजपा सरकार ने विद्युत व्यवस्था को तहस नहस करने में कुछ उठा नहीं रखा है। लाइन हानि और बिजली चोरी रोकने में उसकी असफलता जगजाहिर है। इस सरकार ने एक काम यह जरूर किया कि उपभोक्ताओं पर भारी आर्थिक भार लादने में कोई संकोच नहीं किया। भाजपा सरकार ने अभी पिछले दिनों ही बिजली दरों में भारी वृद्धि की जिससे घरेलू अर्थव्यवस्था पूरी तरह बिगड़ गई है।
अखिलेश ने कहा कि इसमें दो राय नहीं कि भाजपा सरकार ने अपने अब तक के कार्यकाल में सिर्फ जनसामान्य को परेशान करने वाली नीतियां एवं निर्णय ही अपनाए है। नोटबंदी-जीएसटी, बिजली, रसोई गैस, परिवहन की दरों में वृद्धि से समाज का हर वर्ग बुरी तरह प्रभावित हुआ है। भाजपा सरकार के इन निर्णयों ने जनता को तबाही के कगार पर पहुंचा दिया है।
अखिलेश ने आईपीएन को दिए अपने बयान में कहा कि भाजपा सरकार में अरबों रूपए का एक बड़ा घोटाला सामने आया है। बिजली कर्मचारियों के 16 अरब रूपए एक डिफाल्टर कम्पनी डी.एच.एफ.सी.एल. में लगा दिया गया। इस कम्पनी के आतंकवादी इकबाल मिर्ची और दाऊद से सम्बंध बताए जाते हैं। अब सवाल यह है कि बिजली कर्मचारियों की गाढ़ी कमाई के पैसे कौन लौटाएगा? इस मामले की उच्च स्तरीय जांच हो तभी इस वित्तीय अनियमितता का खुलासा हो पाएगा।
अखिलेश ने कहा कि समाजवादी सरकार के समय घरों में बिजली के मीटर लगाने की शुरूआत हो गई थी अब उसी पर राजनीति कर जनता को बहकाने की योजना पर भाजपा सरकार काम कर रही है। भाजपा सरकार जनता को ठगने के लिए खराब गुणवत्ता वाले मीटर लगा रही है। उपभोक्ता परेशान है, और गलत बिलिंग के शिकार हो रहे हैं।
अखिलेश ने कहा कि यह तो सभी जानते हैं कि समाजवादी सरकार में ही गांवों में 18 घंटे और महानगरों तथा सभी तीर्थ स्थलों में 24 घंटे विद्युत आपूर्ति सुनिश्चित की गई थी। प्रदेश में ट्रांसफार्मर बदलने की समय सीमा तय कर दी गई थी। किसानों के नलकूपों के ऊर्जाकरण को प्राथमिकता दी गई थी।
अखिलेश ने कहा कि समाजवादी सरकार में राज्य विद्युत निगम की अधिष्ठापित क्षमता में बढ़ोत्तरी के साथ पारीछा, अनपरा डी, मेजा, ललितपुर की तापीय परियोजनाओं का विस्तार कर विद्युत क्षमता बढ़ाई गई। उपभोक्ताओं को नए विद्युत कनेक्शन दिए गए और उनका लोड बढ़ाया गया। 201 नए विद्युत उपकेन्द्रों की स्थापना की व्यवस्था समाजवादी सरकार ने ही की थी।
उल्लेखनीय है कि समाजवादी सरकार के कार्यकाल में ही ऊर्जा नीति घोषित की गई थी। ग्रिड संयोजित सौर पावर परियोजनाएं स्थापित की गईं। ग्रामीण क्षेत्रों के लिए मिनी ग्रिड सोलर पावर की योजनाएं कार्यान्वित की गई। लोहिया समग्र गांवों में सोलर स्ट्रीट लाइट और लोहिया ग्रामीण आवासों में सोलर पावर पैकेज दिया गया। अण्डरग्राउण्ड केबिल बिछाने का काम भी तभी शुरू हुआ।
अखिलेश ने कहा कि भाजपा सरकार ने विद्युत व्यवस्था को तहस नहस करने में कुछ उठा नहीं रखा है। लाइन हानि और बिजली चोरी रोकने में उसकी असफलता जगजाहिर है। इस सरकार ने एक काम यह जरूर किया कि उपभोक्ताओं पर भारी आर्थिक भार लादने में कोई संकोच नहीं किया। भाजपा सरकार ने अभी पिछले दिनों ही बिजली दरों में भारी वृद्धि की जिससे घरेलू अर्थव्यवस्था पूरी तरह बिगड़ गई है।
अखिलेश ने कहा कि इसमें दो राय नहीं कि भाजपा सरकार ने अपने अब तक के कार्यकाल में सिर्फ जनसामान्य को परेशान करने वाली नीतियां एवं निर्णय ही अपनाए है। नोटबंदी-जीएसटी, बिजली, रसोई गैस, परिवहन की दरों में वृद्धि से समाज का हर वर्ग बुरी तरह प्रभावित हुआ है। भाजपा सरकार के इन निर्णयों ने जनता को तबाही के कगार पर पहुंचा दिया है।